RAVANA
- CLAT Mentor Neeraj Sir
- Jun 26, 2020
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महाबली मै वीर हूं, सामर्थ हू बलवान हुं !
रावण मेरा नाम है, ज्ञानियों में मान हु !
कहे लोग अभिमान जिसको, मेरे वीरता का नाम है !
जा पर्वतों से पूछ लो, भुजाओं का बल मेरा !
रंक्षासो का राज हु मै, विध्वंस का आगाज हुं मै !
होंगे वो साक्षात भगवान, पर उनसे भी नाराज हुं मै !
मारने को जिसके लिए, ब्रह्मा का षड्यांट्र हुआ ! जिसके लिए नारायण ने भी, नर वेश को धारा है ! तु बता ये जन जनाधि, कौन किससे हारा है ? महाबली मै वीर हूं, सामर्थ हू बलवान हुं ! रावण मेरा नाम है, ज्ञानियों में मान हु !
मुझको तो ये सबकुछ पता था, वैकुंठ धाम में जो योजन बना था !
मारने मुझको यहां, नारायण को धर पे जना था !
मै तो उसी दिन जीत गया, जिस दिन कौशिल्या ने राम को जना था !
सीता को पाकर, वनवास जाकर, भगवान सबकुछ भोग रहे !
मुक्ति के आसार में, मै श्री राम को ही ढूंढ़ रहा था !
त्रिलोक विजय जो मेरा नाम है, कर्म से मुझे मिला है ! स्वयं ब्रह्मा जानते थे, मेरे कर्म को भी मानते थे ! वो तो मेरा सौभाग्य है, राक्षस वंश का कल्याण है ! नर वानर वेश में, देवताओं का आभार है !
मै भला वो कौन हूं, जो सिया को हर सका था,
कर अधर्म वो मान का, मेरे तरफ से भगवान को सहयोग था !
श्री राम भी तो भगवान हैं, सौ चाल वो भी चल रहे है,
बस एक चाल जों मैंने चली, क्या वो पाप का प्रमाण था ?
एक एक कर जो हर दिन, देवताओं के हाथों मर रहे है !
सौभाग्य मेरा है ये सबकुछ, सबका मुक्ति का प्रमाण है !
सज्ज है ये रावण आज, रणभूमि में जाने को !
कुछ खेल और प्रकर्म दिखाकर, स्वर्ग को भी जानें को !
श्री राम तो भगवान है, पराजय विपरीत नाम है !
पर खड़ा वो घायल मानव, मेरे वीरता का प्रमना है
महाबली मै वीर हूं, सामर्थ हू बलवान हुं ! रावण मेरा नाम है, ज्ञानियों में मान हु !
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